प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि भारत और मॉरीशस के बीच साझेदारी सिर्फ ऐतिहासिक संबंधों तक सीमित नहीं है, बल्कि यह हमारे साझा मूल्यों और विश्वास पर भी आधारित है। पीएम मोदी ने कहा कि आपने (मॉरीशस के प्रधानमंत्री नवीनचंद्र रामगुलाम) हमेशा हमारे संबंधों का नेतृत्व किया है, और इस नेतृत्व के आधार पर हमारी साझेदारी सभी क्षेत्रों में नई ऊंचाइयों को छू रही है।
पीएम मोदी दो दिवसीय मॉरीशस की यात्रा पर हैं। मॉरीशस के प्रधानमंत्री नवीनचंद्र रामगुलाम ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सम्मान में राजकीय रात्रिभोज का आयोजन किया। इस दौरान पीएम मोदी ने कहा कि भारत और मॉरीशस साथ मिलकर महत्वपूर्ण बुनियादी ढांचा परियोजनाओं पर काम कर रहे हैं, जो मॉरीशस में विकास पर छाप छोड़ रही हैं। उन्होंने कहा कि हम चुनौतीपूर्ण समय में हमेशा एक परिवार की तरह एक-दूसरे के साथ खड़े रहे हैं।
मॉरीशस की यात्रा परिवार से मिलने का मौका…
पीएम मोदी ने मॉरीशस में हुए भव्य स्वागत और आतिथ्य के लिए वहां की सरकार और लोगों के प्रति आभार व्यक्त किया। पीएम मोदी ने कहा, ‘मॉरीशस में हुए मेरे भव्य स्वागत और मेहमाननवाजी के लिए मैं मॉरीशस के प्रधानमंत्री, सरकार और लोगों का दिल से धन्यवाद करता हूं। किसी भी भारतीय प्रधानमंत्री के लिए मॉरीशस की यात्रा हमेशा बहुत खास होती है। यह सिर्फ एक राजनीतिक यात्रा नहीं है, बल्कि अपने परिवार से मिलने का मौका भी होता है। यह मेरे लिए सौभाग्य की बात है कि एक बार फिर मैं मॉरीशस के राष्ट्रीय दिवस पर मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हो रहा हूं। इस अवसर पर मैं आप सभी को 140 करोड़ भारतीयों की ओर से शुभकामनाएं देता हूं।’
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हमारी मित्रता की कोई सीमा नहीं: पीएम मोदी
पीएम मोदी ने आगे कहा कि मॉरीशस हमारा करीबी समुद्री पड़ोसी और हिंद महासागर में एक महत्वपूर्ण साझेदार है। वैश्विक दक्षिण देशों को सामूहिक रूप से अपनी आवाज उठानी चाहिए। जी-20 की अपनी अध्यक्षता के दौरान, हमने वैश्विक दक्षिण देशों को प्राथमिकता दी और मॉरीशस को अपने विशेष अतिथि के रूप में आमंत्रित किया। हमारी मित्रता की कोई सीमा नहीं है।
मॉरीशस के पीएम ने प्रधानमंत्री मोदी का जताया आभार
वहीं, मॉरीशस के पीएम रामगुलाम ने पीएम मोदी का राष्ट्रीय दिवस समारोह में उपस्थित होने पर आभार जताया। रामगुलाम ने कहा, ‘मुझे बहुत गर्व और सम्मान की अनुभूति हो रही है कि आपने (पीएम मोदी) अपने व्यस्त कार्यक्रम के बावजूद हमारे राष्ट्रीय दिवस समारोह में अपनी उपस्थिति से मुझे सम्मानित करने का मेरा निमंत्रण स्वीकार किया है। यह मॉरीशस के प्रति आपकी गहरी भावनाओं का प्रमाण है।
मॉरिशस भारत का एक परिवार, हमें वैश्विक दक्षिण से जोड़ता है: मोदी
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मॉरिशस को भारत और वैश्विक दक्षिण के बीच एक सेतु बताते हुए कहा कि यह द्वीपीय राष्ट्र भारत का एक परिवार है, न कि सिर्फ साझेदार देश। मॉरिशस एक ‘मिनी इंडिया’ है। पीएम मोदी एक कार्यक्रम में भारतीय समुदाय को संबोधित कर रहे थे। इस कार्यक्रम में मॉरिशस के प्रधानमंत्री नवीनचंद्र रामगुलाम, उनकी पत्नी वीना और कैबिनेट मंत्री भी शामिल हुए।
पीएम मोदी ने कहा, हमारे लिए मॉरिशस एक मजबूत रिश्ता है जिसकी जड़ें इतिहास, विरासत और मानवीय भावना से जुड़ी है। मॉरिशस भारत को व्यापक वैश्विक दक्षिण से जोड़ने वाला एक सेतु भी है। पीएम मोदी ने कहा कि एक दशक पहले, 2015 में, प्रधानमंत्री के रूप में अपने पहले कार्यकाल में, मैंने भारत के सागर विजन की घोषणा की थी। इसका मतलब है क्षेत्र में सभी के लिए सुरक्षा और विकास। आज भी मॉरिशस इस विजन के केंद्र में है। जलवायु परिवर्तन की चुनौती से निपटने में पीएम मोदी ने अंतरराष्ट्रीय सौर गठबंधन और वैश्विक जैव ईंधन गठबंधन पहलों में मॉरिशस की भागीदारी की सराहना की। इस कार्यक्रम में एक आकर्षक सांस्कृतिक कार्यक्रम भी शामिल था, जिसमें इंदिरा गांधी सेंटर फॉर इंडियन कल्चर, महात्मा गांधी इंस्टीट्यूट और अन्ना मेडिकल कॉलेज के कलाकारों ने प्रस्तुति दी।
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मॉरिशस का सर्वोच्च सम्मान सिर्फ मेरा नहीं, दोनों देशों ऐतिहासिक रिश्तों का सम्मान
मॉरिशस की ओर से देश का सर्वोच्च सम्मान दिए जाने की घोषणा पर पीएम मोदी ने कहा, उन्होंने कहा, मैं इसे बहुत सम्मान के साथ स्वीकार करता हूं। यह सिर्फ मेरे लिए गर्व की बात नहीं है, यह भारत और मॉरीशस के बीच ऐतिहासिक संबंधों का सम्मान है।
मखाना जल्द ही यहां मुख्य नाश्ता होगा
मोदी ने बिहार के विकास में सरकार के कदमों का जिक्र करते हुए कहा कि बिहार का मखाना जल्द ही दुनिया भर के नाश्ते के मेनू का हिस्सा बन जाएगा। साथ ही नालंदा विश्वविद्यालय के साथ भारत की प्राचीन शैक्षिक विरासत को याद किया। उन्होंने कहा, जब दुनिया के कई हिस्से शिक्षा से दूर थे, तब नालंदा जैसा वैश्विक संस्थान भारत में पनपा। हमारी सरकार ने नालंदा विश्वविद्यालय और उसकी भावना को पुनर्जीवित किया है।
माॅरिशस से यादों वाले होली के रंग भारत साथ ले जाऊंगा
पीएम मोदी ने कहा, भारत में रंगों के त्योहार ‘होली’ में अब सिर्फ तीन दिन शेष रह गए हैं। मैं यहां से यादों वाले होली के रंग अपने साथ भारत ले जाऊंगा। पीएम मोदी ने दस साल पहले की मॉरिशस यात्रा को भी याद किया। उन्होंने कहा, तब होली के बाद वाले हफ्ते में आया था और अपने साथ ‘फगवा’ का आनंद लाया था। इस बार होली के रंग मैं अपने साथ भारत लेकर जाऊंगा…। मोदी ने कहा, यहां की हवा में, मिट्टी में और पानी में अपनापन है।
संकट के समय भारत हमेशा मॉरिशस के साथ खड़ा रहा
पीएम मोदी ने कहा, संकट के समय में भारत हमेशा मॉरिशस के साथ खड़ा रहा है। कोविड-19 के दौरान भारत एक लाख टीके और आवश्यक दवाइयां देने वाला पहला देश था। जब मॉरिशस संकट में आता है, तो भारत सबसे पहले मदद के लिए आगे आता है। जब मॉरिशस समृद्ध होता है, तो भारत सबसे पहले जश्न मनाता है।
श्रीराम मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा का समारोह मनाने के लिए धन्यवाद
प्रधानमंत्री ने अयोध्या में श्रीराम मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा का जश्न मनाने के लिए मॉरिशस के लोगों को भी धन्यवाद दिया। उन्होंने कहा, जब अयोध्या में प्राण प्रतिष्ठा का आयोजन किया गया, तो हमारा 500 साल का इंतजार खत्म हुआ, भारत में भी वैसा ही उत्साह और उत्सव था, हमने यहां मॉरिशस में भी उतना ही बड़ा उत्सव देखा। आपकी भावनाओं को समझते हुए मॉरिशस ने तब आधे दिन की छुट्टी भी घोषित की थी। भारत और मॉरिशस के बीच आस्था का यह रिश्ता हमारी मित्रता का बहुत बड़ा आधार है।
भोजपुरी में खूब की बात, बोले जो फिल्म यहां शूट हो, उसका हिट होना पक्का
मोदी ने 30 मिनट के भाषण में भोजपुरी भाषा का भी खूब इस्तेमाल किया, क्योंकि मॉरिशस की 70 फीसदी आबादी भारतवंशी है और उसमें से अधिकतर भोजपुरी बोलने वाले हैं। मोदी ने कहा, अगर मॉरिशस में कोई भारतीय फिल्म शूट की जाती है तो उसके हिट होने की संभावना बढ़ जाती है। जब भी मैं मॉरिशस आता हूं, तो मुझे ऐसा लगता है कि मैं अपने ही लोगों के बीच हूं। इस पर वहां मौजूद प्रवासी समुदाय ने तालियां बजाईं।
गुजराती में चीनी को मौरिस बोलते हैं
भाषाई और सांस्कृतिक संबंधों का जिक्र करते हुए मोदी ने कहा, गुजराती में चीनी को ‘मौरिस’ कहा जाता है, शायद इसलिए क्योंकि हम मॉरिशस से चीनी मंगाते थे। यहां भारत की खुशबू है। मोदी ने आगे कहा कि भारत में हुए महाकुंभ का पवित्र जल मॉरिशस के गंगा तालाब में डाला जाएगा। यह भारतीय प्रवासियों की पूजित पवित्र झील है।